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बरौनी डेयरी प्रबंधन के मनमानी के खिलाफ किसानों को गोलबंद कर आंदोलन की तैयारी कर रहा है दुग्ध उत्पादक संघ
BINOD KARN
BEGUSARAI : बरौनी जोन के दुग्ध उत्पादकों के कन्वेंशन को संबोधित करते हुए किसान नेता अशोक प्रसाद सिंह ने कहा कि दिन-रात कठिन मेहनत से पशुपालन कर अमृत तुल्य दूध के रूप में दौलत पैदा करने वाला किसान आज कंगाल है। बरौनी डेयरी घाटे में है तथा प्रबंधन और ठेकेदार मालामाल और किसान फटेहाल है।
ओमर हाई स्कूल तेघरा के सभा हॉल में चार मई को आयोजित सभा को संबोधित करते हुए अशोक सिंह ने कहा कि दौलत ना तो किसानों की जेब में जाता है, ना ही बरौनी डेयरी के खजाने में जाता है। बीच में ही भ्रष्ट पदाधिकारी और उनके दलाल मिलकर बांट लेते हैं। उन्होंने कहा कि बरौनी डेयरी प्रबंधन द्वारा समितियों के बीच डर, भय, दहशत का आतंक पैदा कर दिया जाता है। उन्होंने कहा कि जाति और पार्टी के नाम पर फूट डालो राज करो की नीति के तहत किसानों के बीच अपने स्टाफ और दलालों के द्वारा कुप्रचार और दुष्प्रचार फैलाकर हमें एकजूट नहीं होने देते हैं। उन्होंने कहा कि शिक्षकगण विभिन्न पार्टियों में रहने के बावजूद अपने हक की लड़ाई में एकजुट होकर लड़ते हैं और अपनी हक को हासिल करते हैं। अपनी मांगों को मानने के लिए सरकार को मजबूर करते हैं। उसी प्रकार हमें भी संगठित होकर अपनी मांगों को हासिल करने के लिए आज संकल्प लेने की जरूरत है।
उन्होंने कहा कि अपनी हकमारी के खिलाफ जाति और पार्टी से ऊपर उठकर हम एकजुट होकर संघर्ष करें, तभी सफलता मिलेगी। कन्वेंशन की अध्यक्षता बरौनी डेयरी के पूर्व अध्यक्ष मोहन मुरारी सिंह ने की, जबकि मंच संचालन किसान सभा के जिला सचिव दिनेश सिंह ने किया। कन्वेंशन को संबोधित करते हुए निदेशक मंडल के सदस्य दीपक कुमार ने विस्तार से प्रबंध निदेशक बरौनी डेयरी के भ्रष्टाचार की चर्चा करते हुए कहा कि विगत 3 साल से बरौनी डेयरी में आम सभा नहीं की गई है। विधिवत ऑडिट नहीं हुआ है। बोर्ड की बैठक के बगैर प्रबंध निदेशक सारे फैसले लेकर पूरे डेयरी में लूट मचाए हुए हैं। विधानसभा और विधान परिषद में भी सवाल उठाए गए। मगर सरकार के मंत्री ने सदन में झूठा बयान देकर लोगों को बरगलाने की कोशिश की। इसलिए किसानों के सामने आंदोलन के सिवा बरौनी डेयरी को बचाने का दूसरा कोई रास्ता नहीं है। बरौनी डेयरी से जुड़े हुए कुछ सचिव और अध्यक्ष तथा बोर्ड के सदस्यों को खुश कर बरौनी डेयरी को बंद करने नहीं देंगे, बल्कि इससे जुड़ें हुए दो लाख किसानों को जगाएंगे और उन्हें संगठित कर संघर्ष के रास्ते आगे बढेगे।
कन्वेंशन को किसान नेता सनातन सिंह, विवेकानंद चौधरी, रामविलास महतो, राजकुमार राय, रामाधार राय, संजय कुमार, शंभू कुमार, चंद्रदेव महतो, राजीव चौधरी, रवि कुमार, राजकुमार यादव, संजय कुमार चौधरी, चिंटू कुमार, राजीव कुमार, नीलम देवी, संजय कुमार, निरंजन कुमार ईश्वर के अलावा बेगूसराय कोऑपरेटिव बैंक के निदेशक मंडल के सदस्य रामनरेश महतो, पैक्स अध्यक्ष सरोज कुमार, शंकर कुमार, शंकर कुमार ईश्वर आदि ने कन्वेंशन को संबोधित किया। समापन भाषण बरौनी शीत गृह के अध्यक्ष भोला सिंह ने किया। अंत में 25 सदस्यों की संचालन समिति का गठन किया गया, जिसके पांच संयोजक बनाए गए। संघर्ष को तेज करने के लिए बरौनी जोन से जुड़े हुए सभी प्रखंडों की अलग-अलग बैठक करने का प्रस्ताव लिया गया। साथ ही इसी प्रकार बरौनी डेयरी से जुड़े हुए 6 अन्य जोन की भी बैठक करने का निर्णय लिया गया। किसानों के बीच प्रचार हेतु 50,000 पर्चा छपाया गया है ताकि उन्हें जागरूक किया जा सके।